उच्चारण और वर्तनी – हिंदी भाषा को लिखना और बोलना दोनों अलग-अलग है, इन दोनों को करने के लिए अलग-अलग नियम होते हैं यदि आप हिंदी भाषा को शुद्ध करके नहीं लिखते तो बोलने में कुछ गड़बड़ी आ सकती है, हम अपने मुख से अक्षर, वर्ण का उच्चारण और इन्हे कैसे लिखते हैं वह आज आप इस पेज “Ucharan Aur Vartani Kise Kahate Hai, पेज पर जानेंगे।
Defination Of Pronunciation & Orthography In Hindi – उच्चारण और वर्तनी की परिभाषा
जब हम अपने मुख से किसी वर्ण और अक्षर का उच्चारण करते हैं, तो उसे उच्चारण कहते हैं साधारण शब्दों में बोला जाए तो हम अपने मुंह से जो कुछ भी बोलते हैं वह उच्चारण कहलाता है।
मुंह से निकलने वाले शब्द उच्चारण हैं।
ठीक उसी तरह शब्दों को लिखना या किसी पेपर आदि पर व्यक्त करना “वर्तनी” कहलाता है वर्तनी उसे कहते हैं जो हम बोलते हैं उसी को लिखते हैं। वर्तनी को साधारण शब्दों में बताया जाए तो लिखने की प्रक्रिया को वर्तनी कहते हैं।
अशुद्धियां और शुद्ध रूप
अशुद्ध शुद्ध अशुद्ध शुद्ध अंलकार अलंकार इलावा अलावा अन्श अंश आधिकारी अधिकारी कन्ठ कंठ बांगला बंगला अगूंर अंगूर बारात बरात सिन्ह सिंह आविस्मरणीय अविस्मरणीय कन्धा कंधा आनाधिकार अनाधिकार मन्दी मंदी अगामी आगामी अधीन अधीन अशीर्वाद आशीर्वाद हस्पताल अस्पताल अन्त्यक्षरी अन्त्याक्षरी जमाता जामाता तालाश तलाश मलूम मालूम अहार आहार रमायण रामायण अजमाइश आजमाइश नदान नादान अतिथी अतिथि तलाब तालाब आपत्ती आपत्ति वाल्मीकी वाल्मीकि श्रद्धांजली श्रद्धांजलि तीथी तिथि अनीवार्य अनिवार्य नीती नीति कोटी-कोटी कोटि-कोटि परीचय परिचय अधार आधार रीती रीति पूष्टी पुष्टि समिती समिति पूर्ती पूर्ति राजनीती राजनीति सम्पत्ती सम्पत्ति
अशुद्धियां और शुद्ध रूप
अशुद्ध शुद्ध अशुद्ध शुद्ध स्थायीत्व स्थायित्व मैथीली मैथिली कठनाई कठिनाई तिरिस्कार तिरस्कार सरोजनी सरोजिनी शिवर शिविर वाहनी वाहिनी उजयाला उजियाला दामीनी दामिनी लिखत लिखित मट्टी मिट्टी कवियित्री कवयित्री युधिष्ठर युधिष्ठिर प्रदर्शिनी प्रदर्शनी पहिला पहला अद्वितिय अद्वितीय चाहिता चाहता द्रविभूत द्रवीभूत द्वारिका द्वारका रितिकाल रीतिकाल सामिग्री सामग्री महादेवि महादेवी छिपकिली छिपकली महिना महीना वापिस वापस श्रीमति श्रीमती टिकिट टिकट मीडीया मीडिया मिनिट मिनट शताब्दि शताब्दी विडियो वीडियो केबिल केबल वर्तनि वर्तनी परिक्षण परीक्षण टेबिल टेबल दिवाली दीवाली पत्नि पत्नी पिताम्बर पीताम्बर
अशुद्धियां और शुद्ध रूप
अशुद्ध शुद्ध अशुद्ध शुद्ध कृतघ्नी कृतघ्न निरपराधी निरपराध निष्कपटी निष्कपट ऊत्पात उत्पात रेणू रेणु पुरूष पुरुष ऊत्थान उत्थान रूपया रुपया पूण पुण्य रूख रुख पुस्प पुष्प संघर्स संघर्ष साधूवाद साधुवाद कूआं कूआँ आधूनिक आधुनिक अनूकूल अनुकूल सुरज सूरज उंचाई ऊँचाई सिन्दुर सिन्दूर चित्रकुट चित्रकूट हिन्दु हिन्दू पृथा प्रथा हीन्दी हिन्दी जागृत जाग्रत वजृ वज्र ग्रहीत गृहीत दृष्टा द्रष्टा चाहिऐ चाहिए द्रश्य दृश्य एसा ऐसा अनुग्रहीत अनुगृहीत एकान्तिक ऐकान्तिक ऐकान्त एकान्त एश्वर्य ऐश्वर्य सरवर सोरवर एतिहासिक ऐतिहासिक अनेकों अनेक बहुतों बहुत प्रत्येकों प्रत्येक भूगोलिक भौगोलिक बसन्त वसन्त कच्छा कक्षा सिंघ सिंह लच्छन लक्षण धोका धोखा उश्रृंखल उच्छृंखल साढ़ी साड़ी वीना वीणा सीदा सीधा नर्क नरक संतुष्ठ संतुष्ट अनिष्ठ अनिष्ट हितैशी हितैषी चिन्ह चिह्न भाग्यमान भाग्यवान कैलास कैलाश सलज सलज्ज अला अल्ला कुच्छ कुछ शन्ख शंख रक्खा रखा कार्यकर्म कार्यक्रम कारवाई कार्रवाई स्वास्थ स्वास्थ्य उजवल उज्जवल अध्यन अध्ययन कुम्भार कुम्हार छमा क्षमा इंकार इन्कार कुन्डली कुण्डली फिलम फिल्म इसलाम इस्लाम उचारण उच्चारण इनसान इंसान किसमत किस्मत चांद चाँद
अशुद्धियां और शुद्ध रुप
अशुद्ध शुद्ध अशुद्ध शुद्ध आंगन आँगन आंख आँख अर्थात अर्थात् सत सत् परिषद परिषद् पश्चात पश्चात् श्रद्धावान श्रद्धावान् विधिवत विधिवत् भगवान भगवान् वणिक वणिक् विद्वान विद्वान् च्युत् च्युत अष्टम् अष्टम पंचम् पंचम प्राचीनतम् प्राचीनतम दशम् दशम भागवत् भागवत महान महान्
Conclusion : यदि आप व्याकरण नियमों को नहीं जानते हैं तो आप हिंदी भाषा को बोलने और लिखने में गलती कर सकते हैं यदि आप हिंदी व्याकरण के उच्चारण और वर्तनी नियम को जान लेते हैं तो भाषा को शुद्ध करके, शुद्ध और अशुद्ध की पहचान कर सकते हैं।
FAQs About Pronunciation & Orthography In Hindi:
Q1. अहार शब्द का अशुद्ध क्या होता है ?
Ans : आहार
Q2. अक्षर और वर्ण का उच्चारण करने में कितने अंगो से ध्वनि निकलती है ?
Ans : 18 अंगो से (अंदरूनी)
Q3. शुद्ध वर्तनी कैसे लिखा जाता है ?
Ans : शब्दों की पहचान करके मात्रा आदि को सही करके लिखना शुद्ध वर्तनी कहलाता है।